लंका दहनः हनुमान को रावण के पुत्र मेघनाथ अपने पाश में बांध कर रावण के दरबार ले आया. क्रोधित रावण ने हनुमान को मृत्युदंड दे दिया. लेकिन उसके भाई विभीषण ने उसे समझाया कि दूत को मौत की सजा नहीं दी जाती. इस पर रावण ने हनुमान की पूंछ में आग लगाने का आदेश दे दिया. हनुमान यही तो चाहते थे. उन्होंने अपनी आग लगी पूंछ से सारी लंका जला डाली. फिर सीता का संदेश लेकर हनुमान किष्किंधानगरी पहुंचे. लंका का सारा हाल सुनाया. और उन्होंने राम को सीता की वो कहानी सुनाई जो केवल राम को ही पता थी. राम ने तुरंत लंका के लिए कूच करने का आदेश दिया. वानर सेना फिर समुद्र तट पर पहुंची. लेकिन पूरी सेना ये विशाल समुन्द्र पार कैसे करेगी?
Dieser Download kann aus rechtlichen Gründen nur mit Rechnungsadresse in A, D ausgeliefert werden.